Hathras Incident: सपा प्रमुख अखिलेश यादव से है सूरज पाल उर्फ बाबा साकार हरि का पुराना नाता

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Hathras Incident: उत्तर प्रदेश के हाथरस-एटा बॉर्डर पर मंगलवार को एक भयंकर भगदड़ में कम से कम करीब 116 लोगों की मौत हो गई। इस दर्दनाक घटना के पीछे का कारण एक धार्मिक सत्संग था, जिसका नेतृत्व विवादित संत सूरज पाल उर्फ बाबा साकार हरि कर रहे थे। मीडिया से मिली जानकारी के अनुसार, सत्संग में भारी भीड़ जुटी थी और पंडाल में उमस और गर्मी के कारण भगदड़ मच गई, जिससे यह दुर्घटना घटित हुई। मरने वालों में सबसे ज्यादा महिलाएं और कई बच्चे शामिल हैं। बता दें कि इस संख्या के अभी बढ़ने के भी संभावना है।

सपा प्रमुख अखिलेश यादव और बाबा का संबंध

समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव का बाबा साकार हरि से पुराना रिश्ता है। पिछले वर्ष जनवरी माह में अखिलेश यादव बाबा के सत्संग में शामिल हुए थे और सोशल मीडिया पर उनकी महिमा का गुणगान करते हुए तस्वीरें शेयर की थीं। सोशल मीडिया साइट एक्स पर अखिलेश यादव ने बाबा के सत्संग में भाग लेने की तस्वीरें भी पोस्ट की थीं, साथ ही बाबा की भक्ति और ज्ञान की तारीफ की थी।

अपनी एक्स पोस्ट में अखिलेश यादव ने लिखा था, “नारायण साकार हरि की सम्पूर्ण ब्रह्मांड में सदा-सदा के लिए जय जयकार हो।” इस प्रकार की सार्वजनिक प्रशंसा ने बाबा की राजनीतिक पहुंच और प्रभाव को उजागर किया था। इस घटना के बाद अब बाबा साकार हरि का नाता पिछले कई विवादों से जोड़कर देखा जा रहा है।

कौन हैं सूरज पाल उर्फ बाबा साकार हरि?

सूरज पाल उर्फ बाबा साकार हरि एक विवादित संत हैं, जिनका उत्तर प्रदेश के समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव से पुराना नाता है। बाबा साकार हरि का असली नाम नारायण साकर हरि है और वह पश्चिमी उत्तर प्रदेश के एक प्रसिद्ध संत हैं। उनकी पहचान एक सफेद सूट और टाई पहने हुए आध्यात्मिक गुरु के रूप में है, जो भक्तों को भौतिकवाद से ऊपर उठने और ईश्वर की भक्ति को अपनाने के लिए प्रेरित करते हैं।

बाबा का विवादित इतिहास

बाबा साकार हरि का अतीत काफी विवादित है। बाबा सूरज पाल पर यौन शोषण समेत पांच अन्य गंभीर मुकदमों का आरोपी है। मिली जानकारी के अनुसार, 28 साल पहले जब वह उत्तर प्रदेश पुलिस में हेड कांस्टेबल की नौकरी कर रहे थे, तब उन पर बलात्कार का मुकदमा दर्ज किया गया था। इस कारण उन्हें पुलिस विभाग से बर्खास्त कर दिया गया था। बाद में, जेल से छूटने के बाद, उन्होंने अपना नाम और पहचान बदलकर संत का रूप धारण कर लिया और सत्संग आयोजित करने लगे।

सीएम योगी ने मृतकों के परिवारों के प्रति व्यक्त की संवेदना

इस भयंकर हादसे की जांच के लिए एडीजी आगरा और कमिश्नर अलीगढ़ के नेतृत्व में एक समिति बनाई गई है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने मृतकों के परिवारों के प्रति संवेदना व्यक्त की है और घायलों के शीघ्र स्वस्थ होने की कामना की है। मुख्यमंत्री ने जिला अधिकारियों को घायलों को उचित उपचार के लिए तुरंत अस्पताल पहुंचाने और घटनास्थल पर राहत कार्य में तेजी लाने के निर्देश दिए हैं।