नई दिल्ली। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने मंगलवार को तटरक्षक मुख्यालय में India Coast Guard कमांडर के 41वें सम्मेलन का उद्घाटन किया। यह सम्मेलन 24 से 26 सितंबर तक नई दिल्ली में आयोजित किया जा रहा है।
India Coast Guard का वार्षिक कार्यक्रम
इंडियन कोस्ट गार्ड कमांडर द्वारा आयोजित इस वार्षिक सम्मेलन ICG के वरिष्ठ कमांडरों द्वारा रणनीतिक, परिचालन और प्रशासनिक मामलों पर सार्थक चर्चा की जाती है। सार्वजनिक रूप से चर्चा के लिए यह मंच महत्वपूर्ण है। कार्यक्रम के दौरान सभी भू-राजनीतिक परिदृश्यों और समुद्री सुरक्षा की जटिलताओं की पृष्ठभूमि पर चर्चा की जाती है।
कार्यक्रम में भविष्य के ICG परियोजनाओं पर मंथन
रक्षा मंत्रालय के एक बयान के अनुसार, यह सम्मेलन ICG के भविष्य के पाठ्यक्रम को आकार देने में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। कार्यक्रम के उद्घाटन समारोह में रक्षा मंत्री ने राष्ट्रीय और समुद्री सुरक्षा से संबंधित महत्वपूर्ण मुद्दों पर एडीजी एस परमीश, महानिदेशक आईसीजी (अतिरिक्त प्रभार) और अन्य वरिष्ठ तटरक्षक कमांडरों के साथ बातचीत की।
भविष्य में बढ़ेंगे समुद्री खतरे : रक्षा मंत्री
कार्यक्रम में अपने सम्बोधन में रक्षा मंत्री ने कहा कि दुनिया तकनीकी क्रांति के दौर से गुजर रही है। आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस, क्वांटम टेक्नोलॉजी और ड्रोन के इस दौर में सुरक्षा के क्षेत्र में महत्वपूर्ण बदलाव देखने को मिल रहे हैं। मौजूदा भू-राजनीतिक स्थिति को देखते हुए भविष्य में समुद्री खतरे बढ़ेंगे। हमें सतर्क और तैयार रहने की जरूरत है।
ICG कमांडरों को सेना के शीर्ष अधिकारियों से मिलेगा संवाद का मौका
सम्मेलन के दौरान चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ के साथ-साथ नौसेना प्रमुख और इंजीनियर-इन-चीफ भी मौजूद रहेंगे। ज्ञात हो कि तीन दिन तक चलने वाले इस कार्यक्रम में India Coast Guard कमांडरों को सेना के शीर्ष अधिकारियों से विशेष बातचीत का अवसर भी मिलेगा।
-गौतम कुमार