‘दुनिया में फैली जंग से पतन की ओर जा रहा ग्लोबल साउथ’, East Asia Summit में गरजे पीएम मोदी

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East Asia Summit: वियतनाम में पूर्वी एशिया शिखर सम्मेलन को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Prime Minister Narendra Modi) ने शुक्रवार (11 अक्टूबर) को कहा कि दुनिया के अलग-अलग हिस्सों में चल रहे संघर्षों का ग्लोबल साउथ पर बहुत बुरा असर पड़ रहा है. उन्होंने नियम आधारित इंडो-पैसिफिक (Indo-Pacific) क्षेत्र का भी समर्थन किया और नौवहन की स्वतंत्रता सुनिश्चित करने की बात कही।

“मैं बुद्ध की धरती से आता हूं… युद्ध का युग नहीं…”- पीएम मोदी

इस सम्मेलन में पीएम मोदी ने आगे कहा कि, “दुनिया के अलग-अलग हिस्सों में चल रहे संघर्षों का सबसे ज्यादा नकारात्मक असर ग्लोबल साउथ के देशों पर पड़ रहा है. हर कोई चाहता है कि यूरेशिया हो या पश्चिम एशिया, जल्द से जल्द शांति और स्थिरता बहाल हो. मैं बुद्ध की धरती से आता हूं और मैंने बार-बार कहा है कि यह युद्ध का युग नहीं है. समस्याओं का समाधान युद्ध के मैदान से नहीं निकल सकता. संप्रभुता, क्षेत्रीय अखंडता और अंतरराष्ट्रीय कानूनों का सम्मान करना जरूरी है. मानवीय दृष्टिकोण रखते हुए संवाद और कूटनीति को प्राथमिकता देनी होगी. विश्व बंधु की जिम्मेदारी निभाते हुए भारत इस दिशा में हर संभव तरीके से योगदान देता रहेगा”.

उन्होंने आगे कहा कि, “हमारा मानना ​​है कि समुद्री गतिविधियां यूएनसीएलओएस (UNCLOS) के तहत संचालित होनी चाहिए, नौवहन और हवाई क्षेत्र की स्वतंत्रता सुनिश्चित करना जरूरी है”. क्योंकि दक्षिण चीन सागर की शांति, सुरक्षा और स्थिरता पूरे हिंद-प्रशांत क्षेत्र के हित में है.

“आतंकवाद दुनियाभर में शांति और सुरक्षा के लिए एक गंभीर चुनौती”- PM मोदी

PM मोदी ने कहा कि, “आतंकवाद वैश्विक शांति और सुरक्षा के लिए भी एक गंभीर चुनौती है. इसका सामना करने के लिए मानवता में विश्वास रखने वाली ताकतों को मिलकर काम करना होगा. साथ ही साइबर, समुद्री और अंतरिक्ष के क्षेत्रों में आपसी सहयोग को भी मजबूत करना होगा.”

पूर्वी एशिया शिखर सम्मेलन में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के बयान के मुख्य बिंदु इस प्रकार हैं…

  1. वैश्विक संघर्षों का ग्लोबल साउथ पर नकारात्मक प्रभाव पड़ रहा है।
  2. नियम आधारित इंडो-पैसिफिक क्षेत्र का समर्थन।
  3. नौवहन और हवाई क्षेत्र की स्वतंत्रता सुनिश्चित करना।
  4. संप्रभुता, क्षेत्रीय अखंडता और अंतरराष्ट्रीय कानूनों का सम्मान जरूरी।
  5. आतंकवाद वैश्विक शांति और सुरक्षा के लिए गंभीर चुनौती।
  6. संवाद और कूटनीति को प्राथमिकता देनी होगी।
  7. दक्षिण चीन सागर की शांति और स्थिरता पूरे हिंद-प्रशांत क्षेत्र के हित में।

अमेरिकी विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन से मिले पीएम मोदी

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वियनतियाने में पूर्वी एशिया शिखर सम्मेलन के दौरान अमेरिकी विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन से मुलाकात की. दोनों नेताओं की मुलाकात के दौरान प्रधानमंत्री मोदी ने अमेरिका में तूफान ‘मिल्टन’ के कारण कम से कम 14 लोगों की मौत पर भी अपनी संवेदनाएं व्यक्त कीं।