Bihar News: चिराग पासवान एलजेपीआर प्रमुख और केंद्रीय मंत्री चिराग पासवान अपनी मां के साथ बुधवार को अपने पार्टी कार्यालय में प्रवेश किया. उन्होंने इस दिन अपने पार्टी दफ्तर का गृहप्रवेश विधिवत तरीके से किया. हालांकि, चिराग ने 3 नवंबर को पहले भी अपने पुराने कार्यालय में पूजा अर्चना की थी, लेकिन आज वे पूरी धार्मिक रीति-रिवाज से दफ्तर में दाखिल हुए हैं.
भवन निर्माण विभाग ने पशुपति पारस का बंगला और दफ्तर अब चिराग पासवान को आवंटित किया है. इस पर रीना पासवान ने पशुपति पारस पर तंज कसते हुए कहा कि उन्हें तीन वर्षों तक दफ्तर में प्रवेश नहीं करने दिया गया था, लेकिन आज चिराग को उनके पिता रामविलास पासवान का आशीर्वाद मिलते हुए यह दफ्तर वापस मिल गया है.
रीना पासवान ने कहा, “आज मुझे बहुत खुशी हो रही है. इस घर में मैं अपने पति रामविलास पासवान के साथ आती थी. आज मेरा बेटा मुझे यहां लेकर आया है.” इस मौके पर चिराग पासवान और उनकी मां के अलावा पार्टी के सांसद और कई अन्य नेता भी मौजूद थे.
गृह प्रवेश के दौरान भावुक हुए चिराग!
इस अवसर पर चिराग पासवान ने अपने पिता की विरासत को याद करते हुए कहा कि उनके पिता ने इस कार्यालय से अपनी पार्टी की शुरुआत की थी और बिहार के विकास के लिए यहां से कार्य किया था. चिराग ने यह भी बताया कि उनके पिता के निधन के बाद इस कार्यालय को उनसे छीन लिया गया, लेकिन आज वह इसे फिर से अपने पिता के विचारों को आगे बढ़ाने के लिए पुनः अपने पार्टी कार्यकर्ताओं के साथ इस्तेमाल करेंगे.
चिराग ने बिहार विधानसभा चुनाव के संदर्भ में कहा कि उनकी पार्टी को अब एक मजबूत आधार मिल चुका है, और झारखंड में मिली जीत के बाद बिहार में भी उनका प्रदर्शन बेहतर रहेगा. उनका लक्ष्य 2025 तक एनडीए को 225 से ज्यादा सीटों के साथ सत्ता में लाना है, और इसके लिए वे अपनी तैयारियों में जुटे हुए हैं.
इतना ही नहीं, तेजस्वी यादव के दावों पर चिराग ने पलटवार करते हुए कहा कि तेजस्वी ने लोकसभा चुनाव और उपचुनावों में भी इसी तरह के बड़े दावे किए थे, लेकिन वास्तविकता सबके सामने है. चिराग ने यह भी कहा कि उपचुनाव में उनकी पार्टी ने शत प्रतिशत सफलता प्राप्त की थी, जबकि तेजस्वी के दावे विफल रहे थे.
सीट बंटवारे पर क्या बोले चिराग?
विधानसभा चुनाव में सीट बंटवारे को लेकर चिराग ने कहा कि गठबंधन में इस विषय पर चर्चा हो रही है, और एक बार जब निर्णय हो जाएगा, तो वह इसे सार्वजनिक करेंगे. उनका स्पष्ट उद्देश्य नीतीश कुमार को मुख्यमंत्री के रूप में फिर से देखना है. वहीं, ईवीएम पर मल्लिकार्जुन खड़गे के बयान पर चिराग ने कहा कि यह कांग्रेस की दोहरी नीति है, जहां उनकी सरकार बनती है, वहां ईवीएम ठीक है, और जहां नहीं बनती, वहां ईवीएम में दोष दिखाते हैं.