पाकिस्तान में भंग हुई नेशनल असेंबली, कौन बनेगा केयरटेकर PM?

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शहबाज शरीफ/इमरान खान (File Photo)

नई दिल्ली/डेस्क: पाकिस्तान के राष्ट्रपति आरिफ अल्वी ने संसद के निचले सदन ‘नेशनल असेंबली’ को भंग कर दिया है। उन्होंने अपने पांच साल के कार्यकाल की समाप्ति से तीन दिन पहले ही यह निर्णय लिया है।

प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ की सलाह पर राष्ट्रपति ने ऐसा किया है। नेशनल असेंबली के भांग होने की घोषणा में यह कहा गया है कि संविधान के अनुच्छेद 58 के तहत निचले सदन को भांग किया गया है। शहबाज शरीफ ने राष्ट्रपति को पत्र लिखकर इसकी सिफारिश की थी।

शहबाज शरीफ ही रहेंगे प्रधानमंत्री

कार्यवाहक प्रधानमंत्री की नियुक्ति की घोषणा भी की गई है। कार्यवाहक प्रधानमंत्री की नियुक्ति होने तक शरीफ प्रधानमंत्री के रूप में अपने कर्तव्यों का पालन करते रखेंगे। पाकिस्तान मुस्लिम लीग-नवाज (पीएमएल-एन) की गठबंधन सरकार की स्थिति अब मजबूत हो सकती है।

2023 में नहीं होंगे चुनाव

राष्ट्रपति अल्वी तुरंत कार्रवाई कर सकते हैं या फिर इसमें कुछ दिन की देरी कर सकते हैं। नेशनल असेंबली के भांग होने के बाद, पाकिस्तान निर्वाचन आयोग आम चुनाव का आयोजन करेगा। यदि नेशनल असेंबली ने पूरा कार्यकाल पूरा कर लिया होता, तो चुनाव 60 दिनों के भीतर होते।

नवंबर में चुनाव हो सकते हैं। लेकिन, गृहमंत्री ने भी चुनाव में देरी की संभावना जताई है। उन्होंने यह कहा कि चुनाव 2023 में नहीं हो सकते और जनगणना के बाद इसकी प्रक्रिया पूरी होगी। इस प्रक्रिया में 120 दिन लग सकते हैं।

कार्यवाहक प्रधानमंत्री की नियुक्ति कैसे होगी?

संविधान के अनुसार, शरीफ और विपक्ष के नेता राजा रियाज के पास कार्यवाहक प्रधानमंत्री का नाम तय करने के लिए अब तीन दिन का वक्त है।

अगर वे किसी नाम पर सहमत नहीं हुए, तो मामला नेशनल असेंबली के अध्यक्ष द्वारा गठित एक समिति को भेजा जाएगा। इस समिति को तीन दिनों के भीतर केयरटेकर प्रधानमंत्री का नाम निर्धारित करना होगा।

अगर समिति किसी निर्णय पर पहुँचने में समर्थ नहीं होती, तो नाम पाकिस्तान निर्वाचन आयोग (ईसीपी) को भेज दिया जाता है। इसके बाद, आयोग के पास विपक्ष और सरकार द्वारा प्रस्तावित नामों पर अंतिम निर्णय लेने के लिए दो दिन का समय होता है।

खान जेल में बंद है इमरान खान

नेशनल असेंबली को भंग करने का फैसला उस समय पर लिया गया है जब पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान भ्रष्टाचार मामले में कानूनी लड़ाई लड़ रहे हैं।

2018 से 2022 तक प्रधानमंत्री के रूप में अवैध रूप से सरकारी उपहारों को बेचने के आरोपों में इमरान खान को गिरफ्तार किया गया है। उन्हें इस्लामाबाद की निचली अदालत ने भ्रष्टाचार मामले में तीन साल की सजा सुनाई थी। इसके बाद, पंजाब पुलिस ने उन्हें गिरफ्तार किया था।

वर्तमान में खान जेल में बंद है और उन्होंने उच्च न्यायालय में अपनी दोषसिद्धि और सजा के खिलाफ अपील दायर की है।

लेखक: करन शर्मा