नई दिल्ली: राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार (NSA) अजीत डोभाल ने शुक्रवार (25 अक्टूबर) को सोशल मीडिया के प्रभाव और इसके बढ़ते दुष्प्रभावों पर चिंता जताते हुए एक ठोस और सत्यापित प्रतिनारेटिव की आवश्यकता पर बल दिया. उन्होंने कहा कि भारत की रक्षा सेना के मनोबल और देश की अखंडता को बनाए रखने के लिए सोशल मीडिया पर फर्जी और गुमराह करने वाले कंटेंट का सशक्त प्रतिकार आवश्यक है.
NSA अजीत डोभाल ने भारतीय रणनीतिक संस्कृति पर आधारित एक पुस्तक के विमोचन के दौरान कहा कि “सोशल मीडिया को सोशल मीडिया के माध्यम से ही जवाब देना होगा. सोशल मीडिया की विश्वसनीयता धीरे-धीरे कम हो रही है, इसलिए झूठे और मनगढ़ंत पोस्ट का पर्दाफाश करना जरूरी है. कुछ ऐसी पोस्ट हैं जो भारतीय सेना के बारे में गलत जानकारी फैलाती हैं, जिससे सैनिकों का नेतृत्व के प्रति भरोसा कमजोर हो सकता है.”
उन्होंने कहा कि किसी घटना के कुछ घंटों के भीतर ही सोशल मीडिया पर झूठी और भ्रामक जानकारी हावी हो जाती है, जिससे जनमानस को सही तथ्य नहीं मिल पाते. ऐसे में सोशल मीडिया पर सटीक और समय पर जानकारी प्रस्तुत करना आवश्यक हो जाता है ताकि गलत सूचनाओं का मुकाबला किया जा सके.
उन्होंने कहा, “देश में देशभक्तों की कमी नहीं है जो सोशल मीडिया पर सही दृष्टिकोण रखने में मदद कर सकते हैं.”
डोभाल ने यह भी कहा कि सरकार द्वारा सोशल मीडिया पर किसी प्रकार की पाबंदी लगाना सही समाधान नहीं होगा. बल्कि, देश के सभी देशभक्त और राष्ट्रप्रेमी लोग अगर सोशल मीडिया का सकारात्मक और जिम्मेदार उपयोग करें, तो नकारात्मक प्रभावों को कम किया जा सकता है.