Jairam Ramesh Raised Question: आखिरकार केंद्र सरकार 4 साल की देरी के बाद जनगणना कराने की तैयारी कर रही है. सरकारी सूत्रों के अनुसार बताया गया है कि अगले साल यानी 2025 से जनगणना शुरू हो जाएगी. जनगणना की शुरुआत 2025 से होगी, जो 2026 तक चलेगी. बता दें कि पहले जनगणना 2021 में होने वाली थी लेकिन कोविड की वजह से नहीं हो पाई थी. वहीं, इसे लेकर अब कांग्रेस नेता जयराम रमेश ने सवाल खड़े किए हैं.
जयराम रमेश ने किया ट्वीट
कांग्रेस नेता जयराम रमेश ने सोशल मीडिया एक्स पर ट्वीट कर लिखा, रजिस्ट्रार जनरल और जनगणना आयुक्त के कार्यकाल के विस्तार की अधिसूचना अभी-अभी जारी की गई है. इसका मतलब है कि लंबे समय से टल रही जनगणना जो 2021 में होनी थी, अब जल्द ही पूरी हो जाएगी. लेकिन दो अहम मुद्दों पर अभी भी कोई स्पष्टता नहीं है.
कांग्रेस नेता ने पूछे सवाल
क्या इस नई जनगणना में देश की सभी जातियों की विस्तृत गणना शामिल होगी, साथ ही अनुसूचित जातियों और अनुसूचित जनजातियों की गणना भी शामिल होगी, जैसा कि 1951 से अब तक हर जनगणना में किया जाता रहा है? भारत के संविधान के अनुसार, ऐसी जाति जनगणना पूरी तरह से केंद्र सरकार की जिम्मेदारी है.
उन्होंने कहा, क्या इस जनगणना का इस्तेमाल लोकसभा में प्रत्येक राज्य की ताकत निर्धारित करने के लिए किया जाएगा जैसा कि भारत के संविधान के अनुच्छेद 82 में प्रावधान है (जिसमें कहा गया है कि वर्ष 2026 के बाद की गई पहली जनगणना और उसके परिणामों का प्रकाशन किसी भी ऐसे पुनर्गठन का आधार होगा)? क्या यह उन राज्यों के लिए नुकसानदेह होगा जो परिवार नियोजन में अग्रणी रहे हैं?
सरकार से की ये मांग
यह सबसे उपयुक्त होगा कि इन दो महत्वपूर्ण मुद्दों पर स्पष्टता प्राप्त करने के लिए शीघ्र ही एक सर्वदलीय बैठक आयोजित की जाए.
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