कनाडा के साथ कब सुधरेंगे भारत के रिश्ते? जस्टिन ट्रूडो के दावों पर विदेश मंत्रालय ने दिया जवाब

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India rejects Justin Trudeau's claim

India rejects Justin Trudeau’s claim: कनाडा के पीएम जस्टिन टूडो ने लाओस में आसियान शिखर सम्मेलन में भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात की। इस दौरान कई महत्वपूर्ण विषयों को संबोधित करने की आवश्यकता पर जोर दिया।

बता दें कि कनाडा में खालिस्तानी कार्यकर्ता की हत्या से भारत को जोड़ने के आरोपों पर हुए तनाव के बाद से पीएम मोदी से यह उनकी दूसरी मुलाकात थी।इस दौरान टूडो ने भारतीय-कनाडाई लोगों को प्रभावित करने वाली चल रही हिंसा पर बात की और सुरक्षा को प्राथमिकता दी।

जस्टिन टूडो ने किया था दावा

पीएम मोदी से मुलाकात के बाद जस्टिन ट्रूडो ने बताया कि उनकी लाओस में प्रधानमंत्री मोदी के साथ ‘संक्षिप्त बातचीत’ हुई है। साथ ही उन्होंने कहा कि मुलाकात में कनाडाई लोगों की सुरक्षा पर भी चर्चा की गई है।

भारत ने जस्टिन टूडो के दावे को किया खारिज

वहीं भारत ने आज (11 अक्टूबर) कनाडा के पीएम जस्टिन टूडो के दावे (India rejects Justin Trudeau’s claim) को खारिज कर दिया कि आसियान शिखर सम्मेलन के दौरान लाओस में पीएम नरेंद्र मोदी से मुलाकात में कनाडाई लोगों की सुरक्षा पर चर्चा की गई थी।

भारत ने शुक्रवार यानी आज कहा कि कनाडा के साथ संबंधों में तभी सुधार किया जाएगा जब जस्टिन टूडो सरकार भारत विरोधी गतिविधियों में सक्रिय रूप से शामिल लोगों के खिलाफ सख्त कार्रवाई करेगी।

कोई ठोस चर्चा नहीं हुई

सूत्रों द्वारा मिली जानकारी के अनुसार, “कनाडा के प्रधानमंत्री द्वारा की गई टिप्पणियों के बारे में, प्रधानमंत्री मोदी और प्रधानमंत्री ट्रूडो के बीच वियनतियाने में कोई ठोस चर्चा नहीं हुई। भारत को उम्मीद है कि कनाडा की धरती पर भारत विरोधी खालिस्तानी गतिविधियों को होने नहीं दिया जाएगा और कनाडा की धरती से भारत के खिलाफ हिंसा, उग्रवाद और आतंकवाद की वकालत करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी, जो अब तक नहीं की गई है।”

“भारत कनाडा के साथ संबंधों को महत्व देता है लेकिन जब तक कनाडा सरकार उन लोगों के खिलाफ सख्त और सत्यापन योग्य कार्रवाई नहीं करती है जो भारत विरोधी गतिविधियों को सक्रिय रूप से आगे बढ़ाते हैं और भारत के साथ-साथ कनाडा में भी नफरत, गलत सूचना, सांप्रदायिक वैमनस्य और हिंसा को बढ़ावा देने की साजिश करते हैं, तब तक इन्हें सुधारा नहीं जा सकता।”

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